इस समय देश खतरनाक कोरोना वायरस के संक्रमण को रोकने के लिए हर मुमकिन कोशिश में लगा हुआ है. कोरोना वायरस के संक्रमण की चेन तोड़ने के लिए देश में पिछले 60 दिनों से लॉकडाउन है. लंबे लॉकडाउन में कई दर्दनाक घटनाएं सामने आ चुकी है. लेकिन गुजरात के पंचमहाल जिले के रायणवाडिया गांव एक दिल दहलाने वाली खबर सामने आ रही है. जहां बच्चों को खाने लिए कुछ न होने पर पति और पत्नी के बीच झगड़ा हो गया और फिर नाराज पत्नी ने अपने दो बच्चों को कुएं में फेंक दिया
मिल रही जानकारी के अनुसार पचंमहल जिला के रायणवाडिया गांव में प्रताप खीमजी राठवा राजगीरी कर अपने परिजनों का पालन पोषण कर रहा था. कोरोना वायरस में हुए लॉकडाउन के कारण राजगीरी बंद होने से वह बेरोजगार हो गया था. इस दौरान घर में खाने पीने के लिए अनाज की भी कमी हो गई. उसके पास न तो काम था और न ही घर चलाने के लिए पैसा.
इन हालात में घर में खाने के लिए कुछ भी नहीं होने पर प्रताप खीमजी राठवा का पत्नी चंपाबेन के साथ बच्चों को खिलाने की बात पर ही झगड़ा हो गया. क्रोध में आग बबूला हुई पत्नी ने आव देखा न ताव, तीन और पांच साल के दोनों बालकों को ही कुएं में डाल दिया. घटना की जानकारी मिलते है गांव वाले एकत्र हो गये और पुलिस को सूचना दी. जिसके बाद हालोल पुलिस का काफिला आ पहुंचा. पुलिस ने बताया कि कुएं में से बच्चों के शवों को बाहर निकाला गया है. बच्चों की हत्या के आरोप में उसकी मां को गिरफ्तार कर लिया है.
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