कृषि कानून का विरोध 14 वें दिन भी जारी है. राजधानी दिल्ली के अलग-अलग सीमा पर किसान कानून के खिलाफ आरपार की लड़ाई का मूड बनाकर डंटे हुए हैं.
केंद्र सरकार साफ कर चुकी है कि कानून को वापस नहीं लिया जाएगा. आज किसानों को मोदी सरकार की ओर से एक मसौदा प्रस्ताव भेजा गया था.
इस प्रस्ताव को किसानों ने खारिज कर दिया है.
सरकार के मसौदा को किसानों ने किया खारिज
सरकार के मसौदा को लेकर किसान संगठनों के सभी नेताओं ने एक अहम बैठक की. इस बैठक में सभी किसानों ने एक मत होकर केंद्र सरकार द्वारा भेजे गये प्रस्ताव को ठुकरा दिया है.
14 तारीख को किसान धरना देने का ऐलान कर दिया है. इतना ही नहीं किसानों ने कहा कि अब हम अपना आंदोलन तेज कर देंगे. 12 तारीख को टोल प्लाजा का घेराव किया जाएगा.
इतना ही नहीं किसान नेताओं ने भाजपा मंत्रियों का घेराव करने का भी ऐलान किया है.
सरकार का प्रस्ताव मिलने पर किसानों ने क्या कहा?
केंद्र सरकार का लिखित प्रस्ताव मिलने के बाद किसान नेताओं ने कहा था कि इसे पढ़ने के बाद फैसला किया जाएगा कि किसानों का आगे की रणनीति क्या होगी.
किसानों ने प्रस्ताव को खारिज करते हुए कहा कि हमें कानून रद्द करने से नीचे कुछ भी मंजूर नहीं.
गृह मंत्री अमित शाह के साथ होने वाली बैठक भी बेनतीजा
कृषि मंत्री और अन्य केंद्रीय मंत्रियों के साथ किसानों की बातचीत बेनतीजा साबित रही जिसके बाद गृह मंत्री अमित शाह ने कल खुद मोर्चा संभाला था.
कल शाम शाह ने किसान नेताओं के साथ बैठकर सरकार की ओर से मसौदा प्रस्ताव भेजने की जानकारी दी थी.
इतना ही नहीं उन्होंने बैठक में साफ कर दिया था कि सरकार कानून को किसी भी सूरत में वापस नहीं लेगी.
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