कोरोना के खिलाफ लड़ाई में पूरा देश एकजुट होने लगा है. रिलायंस इंडस्ट्रीज ने सोमवार को भारत का पहला डेडिकेटेड कोविड-19 अस्पताल मुंबई में बनाने का ऐलान किया है. यह अस्पताल पूरी तरह से रिलायंस फंडेड होगा. कंपनी ने ऐलान किया है कि कोरोना वायरस की वजह से कंपनी में काम न होने के बावजूद कॉन्ट्रैक्ट और टेंपरेरी वर्कर्स को भुगतान करेगा. इसके अलावा रिलायंस ने संकट में फेस मास्क का प्रोडक्शन बढ़ाने और जरूरतमंद को मुफ्त में खाना और फ्यूल देगा.
रिलायंस फाउंडेशन सिर्फ दो हफ्तों में बीएमसी के सहयोग से सेवन हिल्स हॉस्पिटल,(मुंबई) में एक 100 बिस्तर का सेंटर स्थापित करेगा. यह सेंटर मुंबई के उन मरीजों के लिए है जो कि कोविड-19 के लिए हुए टेस्ट में पॉजिटिव आए हैं. इसमें एक निगेटिव प्रेशर रूम शामिल है जो संक्रमण को नियंत्रित करने में मदद करता है. रिलायंस ने लोधीवली, महाराष्ट्र में पूरी तरह से सुसज्जित आइसोलेशन सुविधा का निर्माण किया है. रिलायंस की तरफ से महाराष्ट्र मुख्यमंत्री राहत कोष में 5 करोड़ रुपए का योगदान किया गया है.
रिलायंस कॉन्ट्रैक्ट वर्कर और अस्थायी कर्मचारियों को भुगतान जारी रखेगा, भले ही इस संकट के कारण काम रुक गया हो. इसके तहत 30,000 रुपए प्रति माह से कम आय वालों के लिए, वेतन को महीने में दो बार दिया जाएगा ताकि उनको नकदी की समस्या पेश ना आए और उन पर किसी भी तरह का भारी वित्तीय बोझ ना आए. कंपनी ने अपने ज्यादातर कर्मचारियों को अपने वर्क-फ्रॉम-होम प्लेटफॉर्म पर काम करने की सुविधा प्रदान की है, जो कि लगभग 40 करोड़ ग्राहकों के लिए जियो नेटवर्क को बनाए रखने और दैनिक उपभोग के अन्य आवश्यक वस्तुओं, ईंधन, किराने और अन्य आवश्यक वस्तुओं की निर्बाध आपूर्ति प्रदान करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभा रहे हैं.
गंभीर देंगे 50 लाख रुपये का फंड
क्रिकेटर से राजनेता बने गौतम गंभीर ने सोमवार को कोरोना वायरस संक्रमण से लड़ने में दिल्ली सरकार की मदद करने के लिए सांसद फंड से 50 लाख रुपये देने का ऐलान किया है. बता दें कि दिल्ली सरकार ने बजट ने कोरोना वायरस के लिए 50 करोड़ रुपये फंड का ऐलान किया है. मनीष सिसोदिया ने इसकी जानकारी आज विधानसभा में दी. दिल्ली में कोरोनावायरस के खिलाफ केंद्र और राज्य सरकार के बीच अच्छा तालमेल देखने को मिल रहा है. वहीं इससे पहले गौतम गंभीर ने कोरोना वायरस संक्रमण के प्रसार को रोकने के लिए पृथक रहने के सरकार के दिशानिर्देशों का उल्लंघन करने वालों को चेतावनी देते हुए कहा कि ऐसे लोग सुरक्षित रहने या जेल जाने का विकल्प चुन सकते हैं.