भारत और चीन के बीच सीमा पर तनातनी की स्थिति कायम है. ऐसे में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने मंगलवार को राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार अजीत डोभाल, चीफ ऑफ डिफेंस स्टाफ जनरल बिपिन रावत और तीनों सेना प्रमुखों से मुलाकात की. खबरों के मुताबिक प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी चीन के साथ चल रहे गतिरोध पर चर्चा के लिए एक उच्च स्तरीय बैठक कर रहे हैं. बैठक में शामिल होने वालों में तीनों सेनाओं के प्रमुख, राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार अजीत डोभाल और चीफ ऑफ डिफेंस स्टाफ जनरल बिपिन रावत शामिल हैं.
विदेश सचिव के साथ इससे पहले एक अलग बैठक आयोजित की गई थी. सूत्रों ने कहा कि पीएम मोदी के साथ बैठक से पहले रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने तीन सेवा प्रमुखों से मुलाकात की और उन्हें जानकारी दी. बैठकों का ये दौर ऐसे समय चल रहा है जब सिक्किम और लद्दाख में चीनी और भारतीय सैनिकों की झड़पें हुई हैं.
पिछले कुछ समय से लद्दाख बॉर्डर पर भारत और चीन की सेनाएं आमने-सामने हैं. सैटेलाइट तस्वीरों से पता चला है कि बीजिंग लद्दाख के पास एक एयरबेस का विस्तार कर रहा है. तस्वीरों से यह भी खुलासा होता है कि चीन ने वहां लड़ाकू विमान भी तैनात किए हैं. एक दिन पहले ही चीन ने अपने दूतावास की वेबसाइट पर एक नोटिस में अपने उन नागरिकों को वापस भेजने की पेशकश की, जो अपने घर लौटना चाहते थे.
उधर एएनआई ने सूत्रों के हवाले से बताया है कि खबर है कि 22 और 23 मार्च को भारत और चीनी सेना के कमांडरों के बीच एलएसी पर एक उच्चस्तरीय बैठक हुई थी. इस दौरान दोनों देशों के बीच लद्दाख में चल रहे हालात पर चर्चा हुई थी.
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