Gujarat Exclusive > देश-विदेश > पीएम मोदी बोले- नए कृषि कानूनों में पहले की व्यवस्था नहीं बदली, फैलाया जा रहा भ्रम

पीएम मोदी बोले- नए कृषि कानूनों में पहले की व्यवस्था नहीं बदली, फैलाया जा रहा भ्रम

0
411

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (Prime Minister Modi) ने सोमवार को देव दीपावली मनाने अपने संसदीय क्षेत्र वाराणसी पहुंचे और इस दौरान उन्होंने अपने संबोधन में किसानों के आंदोलन के बीच अपनी बात रखी. कृषि कानूनों को लेकर हो रहे प्रदर्शन के बीच प्रधानमंत्री (Prime Minister Modi) ने कहा कि नए कृषि कानून में पहले की व्यवस्था नहीं बदली है. उन्होंने कुछ लोगों पर किसानों के बीच भ्रम फैलाने का आरोप लगाया.

पीएम मोदी (Prime Minister Modi) ने कहा नए कृषि सुधारों से किसानों को नए विकल्प और नए कानूनी संरक्षण दिए गए हैं. अब छोटा किसान भी, मंडी से बाहर हुए हर सौदे को लेकर कानूनी कार्रवाई कर सकता है. किसान को अब नए विकल्प भी मिले हैं और धोखे से कानूनी संरक्षण भी मिला है.

यह भी पढ़ें: पीएम मोदी देव दीपावली मनाने वाराणसी पहुंचे, 6-लेन हाइवे का किया उद्घाटन

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा,

अपप्रचार किया जाता है कि फैसला तो ठीक है, लेकिन इससे आगे चलकर ऐसा हो सकता है. जो अभी हुआ ही नहीं, जो कभी होगा ही नहीं, उसको लेकर समाज में भ्रम फैलाया जाता है. ये वही लोग हैं, जिन्होंने दशकों तक किसानों के साथ लगातार छल किया है.

पीएम (Prime Minister Modi) ने कहा कि पहले होता ये था कि सरकार का कोई फैसला अगर किसी को पसंद नहीं आता था तो उसका विरोध होता था. लेकिन बीते कुछ समय से हम देख रहे हैं कि अब विरोध का आधार फैसला नहीं बल्कि भ्रम फैलाकर आशंकाओं को बनाया जा रहा है.

वाराणसी में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (Prime Minister Modi) ने कहा कि पुराने सिस्टम से लेन देन करने पर इस कानून में कोई रोक नहीं. नया कानून किसानों के लिए फायदेमंद है. नए कानून में पहले की व्यवस्था नहीं बदली.

एमएसपी को लेकर छल हुआ

पीएम मोदी ने कहा कि अब आप ही बताइए कि अगर मंडियों और MSP को ही हटाना था, तो इनको ताकत देने, इन पर इतना निवेश ही क्यों करते? हमारी सरकार तो मंडियों को आधुनिक बनाने के लिए करोड़ों रुपए खर्च कर रही है. उन्होंने कहा कि अब जैसे एमएसपी तो घोषित होता था, लेकिन एमएसपी पर खरीद बहुत कम की जाती थी. सालों तक एमएसपी को लेकर छल किया गया है. कर्ज माफी छोटे किसानों तक नहीं पहुंच पाती थी यानी छोटे किसानों के साथ छल किया गया. बड़ी-बड़ी योजनाएं घोषणा होती थी, लेकिन वह खुद मानते थे कि एक रुपये में 15 पैसे ही पहुंचता है.

गृहमंत्री से मिले कृषि मंत्री तोमर

केंद्र के कृषि कानूनों के खिलाफ आंदोलन छेड़ चुके किसान सरकार अभी भी दिल्ली से सटे बॉर्डर पर डटे हुए हैं. बातचीत के लिए आगे की रणनीति तैयार की जा रही. उधर केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह ने बातचीत के लिए किसान संगठनों को आगे आने के लिए कहा है. किसानों के आंदोलन के बीच कृषि मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर गृहमंत्री अमित शाह से मुलाकात करने पहुंचे.

गुजराती में ताजा खबरें पढ़ने के लिए यहां क्लिक करें