अमेजन ने रिलायंस (Reliance) और फ्यूचर ग्रुप के बीच हुई सौदेबाजी को लेकर सेबी से गुहार लगाई है. अमेजन ने बाजार नियामक, सेबी को पत्र लिखा है, जिसमें नियामक से सिंगापुर अंतरराष्ट्रीय मध्यस्थता केंद्र में मध्यस्थता न्यायाधिकरण के गठन को देखते हुये उससे 24,713 करोड़ रुपये के फ्यूचर-रिलायंस इंडस्ट्रीज सौदे (Reliance Future Deal) की समीक्षा को निलंबित करने का आग्रह किया गया है.
मीडिया खबरों के मुताबिक, अमेजन ने दिल्ली उच्च न्यायालय की डिवीजन बेंच के समक्ष भी न्यायालय के एकल सदस्यीय पीठ के फैसले के खिलाफ 21 दिसंबर को अपील दायर की है.
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बता दें कि दिल्ली उच्च न्यायालय की एक सदस्यीय पीठ ने 21 दिसंबर को दिये अपने फैसले में अमेजन द्वारा निययामकीय प्राधिकरण को लिखे जाने से रोकने के फ्यूचर समूह की याचिका को खारिज कर दिया था, लेकिन इसके साथ ही नियामकों को सौदे पर निर्णय लेने के मामले में काम जारी रखने पर भी सहमति जताई थी.
क्या है मामला
यह मामला अगस्त 2019 में फ्यूचर समूह की कंपनी फ्यूचर कूपंस लिमिटेड में 49 फीसदी हिस्सेदारी का अमेजन द्वारा अधिग्रहण किए जाने और इसी के साथ समूह की प्रमुख कंपनी फ्यूचर रिटेल में पहले हिस्सेदारी खरीदने के अधिकार से जुड़ा है. इस हिस्सेदारी के लिए अमेजन ने 1500 करोड़ रुपये खर्च किए थे. फ्यूचर रिटेल में फ्यूचर कूपंस की भी हिस्सेदारी है. इस संबंध में विवाद तब उत्पन्न हुआ जब फ्यूचर समूह ने करीब 24,000 करोड़ रुपये में अपने खुदरा, भंडारण और लॉजिस्टिक कारोबार को रिलायंस (Reliance) इंडस्ट्रीज को बेचने का समझौता किया.
गिर रहे हैं रिलायंस के शेयर
उधर मुकेश अंबानी का रिलायंस (Reliance) इंडस्ट्रीज ग्रुप मार्केट कैप के लिहाज से तीसरे नंबर पर लुढ़क गया है. सितंबर में यह देश में पहले नंबर पर था. अब रिलायंस (Reliance) और पहले नंबर के टाटा ग्रुप के मार्केट कैप में 4.57 लाख करोड़ रुपए का अंतर है. रिलायंस ग्रुप की लिस्टेड कंपनियों का मार्केट कैप 12 लाख 68 हजार 478 करोड़ रुपए है. टाटा ग्रुप का मार्केट कैपिटलाइजेशन 17 लाख 25 हजार 567 करोड़ रुपए हो गया है.