गांधीनगर: नरेश पटेल के राजनीति में आने की चर्चा तेज हो गई है. गुजरात की राजनीति में हर पार्टी नरेश पटेल पर दांव लगाने की कोशिश कर रहा है. अगले चुनाव में पाटीदार समुदाय से वोट हासिल करने के लिए नरेश पटेल को अपनी पार्टी में लाने की कोशिश जोरों पर है. कांग्रेस, बीजेपी और आप नरेश पटेल को अपने पाले में लाना चाहती हैं. खोडलधाम के प्रणेता होने के साथ-साथ पाटीदार समाज पर उनका काफी प्रभाव है.
गुजरात बीजेपी का एकमात्र मिशन विधानसभा चुनाव में शानदार जीत हासिल करना है. इस बीच प्रदेश अध्यक्ष सीआर पाटिल ने गोपाल इटालिया के ट्वीट को लेकर बयान देते हुए कहा कि गुजरात की जनता बहुत होशियार है. उनको यह मालूम है कि कौन क्या करता है, क्यों ट्वीट किया जा रहा है, फेसबुक का उपयोग क्यों करता है. लोग तय करते हैं कि क्या सही है और क्या गलत?
नरेश पटेल के राजनीति में शामिल होने के बारे में बात करते हुए, प्रदेश अध्यक्ष सीआर पाटिल ने कहा, “नरेशभाई वर्षों से भाजपा पार्टी के हितैषी रहे हैं. निजी तौर पर वह मेरे अच्छे दोस्त हैं और इसीलिए उन्होंने अब तक किसी भी पार्टी में जाने का फैसला नहीं किया है. जब भी उनसे बात की जाती है तो वह साफ कर देते हैं कि मीडिया अपने तरीके से इस तरीके की खबरों को चला रही है. मैंने कभी किसी पार्टी में शामिल होने के लिए नहीं कहा, मुझसे बातचीत में उन्होंने यही कहा है. मुझे विश्वास है कि नरेशभाई पटेल जिस तरह से लोगों से जुड़े हैं, एक धार्मिक संगठन के मुखिया हैं. वह भारतीय जनता पार्टी के हितैषी है. आने वाले दिनों में भी वह हमारे साथ इसी तरीके से जुड़े रहेंगे.
बता दें कि राजनीति से दूर नरेश पटेल के कांग्रेस और बीजेपी दोनों ही पार्टियों से अच्छे संबंध है. इसके चलते भाजपा और कांग्रेस भी उन्हें अपने पाले में लाने के लिए नज़रें टिकाये बैठी है. नरेश पटेल का कहना है कि इस मामले को लेकर वे अपना फैसला 20 से 30 मार्च के बीच सुना सकते हैं.
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