रूस और यूक्रेन के बीच जारी खून जंग का संकट हर गुजरते दिन के साथ गहराता जा रहा है. रूसी हमले की वजह से लाखों लोग यूक्रेन को छोड़ने को मजबूर हो गए हैं. रूस पर लगाम लगाने के लिए नाटो देशों की बुधवार को ब्रशेल्स में बैठक हुई. इस बैठक में अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडेन ने रूस को लेकर स्पष्ट किया कि अगर रूस ने यूक्रेन पर रासायनिक हथियारों का इस्तेमाल किया तो हम भी इसका जवाब देंगे.
बैठक के बाद अमेरिका के राष्ट्रपति जो बाइडेन ने एक प्रेस कॉन्फ्रेंस को संबोधित करते हुए कहा कि मुझे लगता है कि चीन समझता है कि उसका आर्थिक भविष्य रूस की तुलना में पश्चिम से कहीं अधिक निकटता से जुड़ा हुआ है. मुझे उम्मीद है कि वे (चीन के राष्ट्रपति) इसमें(रूस-यूक्रेन संघर्ष) इंगेज नहीं होंगे. इसके अलावा बाइडेन ने कहा कि अगर रूस यूक्रेन में रासायनिक हथियारों का इस्तेमाल करता है तो हम इसका जवाब देंगे.
अमेरिकी राष्ट्रपति बाइडेन ने इस मौके पर चीन को चेतावनी देते हुए कहा कि अगर यूक्रेन के खिलाफ जंग में रूस का साथ दिया तो उसे इस कदम के लिए गंभीर परिणाम भुगतने पड़ेंगे. जो बाइडेन ने आगे कहा कि चीनी राष्ट्रपति शी जिनपिंग को स्पष्ट कर दिया है कि अगर चीन, रूस को सहायता प्रदान करता है तो उसे गंभीर आर्थिक परिणाम भुगतने होंगे.
रूसी ने परमाणु हथियार इस्तेमाल की दी धमकी
उधर रूसी राष्ट्रपति पुतिन के कार्यालय क्रेमलिन के प्रवक्ता दिमित्री पेसकोव ने कहा कि यूक्रेन युद्ध के दौरान रूस परमाणु हथियारों का इस्तेमाल तभी करेगा जब उसके अस्तित्व के लिए खतरा मंडराएगा. पेसकोव ने कहा कि घरेलू सुरक्षा के लिए हमारी एक व्यवस्था है. इसमें परमाणु हथियारों के इस्तेमाल के नियम तय हैं. अगर हमारे देश के अस्तित्व पर संकट हो तो नियमानुसार परमाणु हथियारों का इस्तेमाल किया जा सकता है.
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