अहमदाबाद: गुजरात हाईकोर्ट ने आज जून में वाडीलाल साराभाई अस्पताल (वीएस) के नौ ब्लॉकों को ध्वस्त करने के अहमदाबाद नगर निगम के फैसले के खिलाफ दायर याचिका पर सुनवाई की, सुनवाई के दौरान हाईकोर्ट ने एएमसी से पूछा है कि अस्पताल फिलहाल अस्तित्व में है तो इसके पीछे क्या वजह है कि इसे गिराना चाहती है. आप क्या करना चाहते हैं? एएमसी कमिश्नर कहां हैं? वे कोर्ट में हैं कि नहीं? अगर एएमसी कोर्ट को आश्वसन देती है कि एक सप्ताह के अंदर अस्पताल को ध्वस्त नहीं करेगाी तो कोर्ट इस याचिका पर 8 सितंबर को सुनवाई करेगी. हाईकोर्ट ने एएमसी के वकील को एएमसी अधिकारियों से जानकारी लेने और इसकी रिपोर्ट देने का निर्देश दिया है.
याचिकाकर्ता के वकील ने कहा कि अस्पताल का प्रबंधन एएमसी द्वारा किया जाता है. लेकिन पिछले दो-तीन साल से एएमसी इस अस्पताल को गिराने का काम कर रही है. इस अस्पताल में धीरे-धीरे स्वास्थ्य संबंधी सुविधाएं बंद की जा रही हैं जिससे गरीब मरीजों को काफी परेशानी का सामना करना पड़ रहा है. नगर निगन विरासत की स्थिति में आने वाली एक इमारत को छोड़कर सभी इमारतों को ध्वस्त करना चाहती है. इस इमारत के बगल में एक अस्पताल बनाया गया है, इसलिए एएमसी अपनी जिम्मेदारी से हाथ नहीं उठा सकती है. अहमदाबाद की आबादी 80 लाख है, तीन अस्पताल एएमसी चला रही है. जिसमें, वी. एस अस्पताल, एल. जी. अस्पताल और शारदाबैन अस्पताल शामिल है. इसलिए वीएस अस्पताल को तोड़ने पर रोक लगाया जाए.
अहमदाबाद नगर निगम के वकील ने कहा कि वीएस अस्पताल की हालत खराब है और इसलिए विध्वंस का काम शुरू किया गया है.
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