नई दिल्ली: लंबे समय के बाद एक बार फिर कांग्रेस अध्यक्ष पद के चुनाव की तैयारी शुरू हो गई है. इसके लिए 17 अक्टूबर को चुनाव होंगे और कांग्रेस को दो दिन बाद नया अध्यक्ष मिलने की उम्मीद है. लेकिन अब कांग्रेस सांसद और पार्टी के बागी नेता मनीष तिवारी ने कांग्रेस अध्यक्ष के चुनाव की प्रक्रिया पर सवाल खड़े किए हैं. उन्होंने मतदान करने वाले प्रतिनिधियों की सूची सार्वजनिक करने की मांग की है. इससे पहले आनंद शर्मा सीडब्ल्यूसी की बैठक में मतदाता सूची पर सवाल उठा चुके हैं.
कांग्रेस के ‘जी-23’ सदस्य मनीष तिवारी ने संगठन के चुनाव प्रभारी मधुसूदन मिस्त्री से पूछा है कि बिना मतदाता सूची घोषित किए निष्पक्ष चुनाव कैसे होगा. तिवारी ने कहा कि क्लब चुनाव में भी ऐसा नहीं होता! उसके बाद अध्यक्ष पद के चुनाव से पहले कांग्रेस की मुश्किलें बढ़ती जा रही हैं.
कांग्रेस अध्यक्ष के चुनाव में करीब 9 हजार मतदाता हैं. मधुसूदन मिस्त्री ने कहा कि मतदाताओं की सूची प्रदेश कांग्रेस कार्यालय में है और चुनाव लड़ने वाले उम्मीदवारों को सूची सौंपी जाएगी. तिवारी ने पूछा है कि क्या उन्हें पार्टी अध्यक्ष का चुनाव लड़ने के लिए राज्यों की यात्रा करनी होगी. तिवारी ने यह भी आशंका व्यक्त की है कि अध्यक्ष चुनाव में प्रस्तावित मतदाता न होने के चलते किसी भी उम्मीदवार का नामांकन रद्द किया जा सकता है. चुनाव लड़ने के लिए दस प्रस्तावकों की आवश्यकता होती है.
तिवारी के ट्वीट से पता चलता है कि कांग्रेस का बागी धड़ा अध्यक्ष पद के चुनाव के लिए उम्मीदवार उतारने की तैयारी कर रहा है. शशि थरूर ने एक दिन पहले इशारा किया था और अब मनीष तिवारी खुलकर सामने आए हैं. G23 के तीन नेता आनंद शर्मा, भूपेंद्र हुड्डा और पृथ्वी राज चव्हाण ने कांग्रेस से इस्तीफा देने वाले गुलाम नबी आजाद से मुलाकात कर चुके हैं.
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