Farmers Protest: तीन कृषी कानूनों के विरोध में शुरू हुए किसान आंदोलन को 100 दिन पूरे हो गए हैं. इस मौके पर धरने पर बैठे किसान शनिवार को हरियाणा में KMP-KGP एक्सप्रेस-वे 11 से 4 बजे तक जाम रखा. हालांकि इस दौरान जरूरी सेवाओं के वाहनों को नहीं रोका गया. Farmers Protest
किसानों का कहना है कि इसके ज़रिए वो सरकार पर दवाब डालना चाहते हैं और चाहते हैं कि सरकार विवादित कृषि क़ानून वापस ले. Farmers Protest
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सितंबर 2020 में लागू किये गए कृषि क़ानूनों के विरोध में बड़ी संख्या में किसान कारों और ट्रैक्टरों पर सवार होकर एक्सप्रेस-वे पर पहुच रहे हैं. Farmers Protest
किसान एकता मोर्चा के नेता बलबीर सिंह राजेवाल ने कहा कि ‘किसान कुंडली-मानेसर-पलवल हाईवे जाम करेंगे.’ ये बंद सवेरे 11 बजे से शाम के सात बजे तक होगा. Farmers Protest
दिल्ली की सीमा पर डटे हुए हैं किसान
बता दें कि पिछले साल दिसंबर के महीने से ही हज़ारों की संख्या में किसान दिल्ली की सीमाओं पर डटे हुए हैं. दिसंबर की कड़कड़ाती ठण्ड के गुज़र जाने के बाद, अब सीमा पर किसान गर्मियों की तैयारिया कर रहे हैं. उनका कहना है कि जब तक सरकार उनकी बात नहीं मानती, वो पीछे नहीं हटेंगे. अब तक 200 से ज्यादा आंदोलनकारियों की मौत ठंड, दिल के दौरे और मानसिक तनाव में आत्महत्या के चलते हो चुकी है. Farmers Protest
किसानों का विरोध प्रदर्शन अधिकतर शांतिपूर्ण रहा है, लेकिन 26 जनवरी को किसानों की ट्रैक्टर रैली के दौरान हिंसा हुई थी, जिसमें एक किसान की मौत हो गई थी. उस दिन कुछ लोगों ने दिल्ली के लाल क़िले पर सिखों का पारंपरिक झंडा फहरा दिया था. बाद में इस मामले में पुलिस ने कई पत्रकारों पर उस दिन की घटनाओं को ग़लत तरीके से पेश करने का आरोप लगाया और उनके खिलाफ़ आपराधिक मामला दर्ज किया गया है. कई नेताओं को हिंसा भड़काने के आरोप में गिरफ्तार भी किया गया है.