विदेश मंत्री एस जयशंकर ने यूरोपीय संघ (ईयू) के शीर्ष नेताओं से मुलाकात कर कई अहम मुद्दों पर चर्चा की जिसमें आर्थिक सहयोग, जलवायु परिवर्तन और क्षमता निर्माण जैसे विविध मुद्दे शामिल रहे. जयशंकर जर्मनी में म्यूनिख सुरक्षा सम्मेलन में भाग लेने गए थे और वह सोमवार को यहां लौटे. उनके इस दौरे का उद्देश्य अगले महीने होने वाले भारत-ईयू सम्मेलन में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के शामिल होने की योजना के मद्देनजर तैयारियों को देखना था.
विदेश मंत्री ने अंतरराष्ट्रीय साझेदारी पर यूरोपीय संघ की आयुक्त जुट्टा उरपिलाईनेन से मुलाकात की. दोनों नेताओं ने क्षमता निर्माण और विकास साझेदारी के अपने अनुभवों के बारे में चर्चा की. जयशंकर ने ट्वीट किया, ‘इन मुद्दों पर समन्वय भारत और ईयू दोनों के लिए लाभदायक रहेगा.’ उन्होंने कहा, ‘इसमें भाग ले रहे विदेश मंत्रियों,राजदूतों और वरिष्ठ अधिकारियों और सबसे प्रमुख एचआर (उच्च प्रतिनिधि) जोसेफ बोरेलएफ का शुक्रिया. इस अहम साझेदारी को और मजबूत करने के लिए साथ काम करने का इंतजार है.’
An open discussion with members of @Europarl_EN representing a broad spectrum of politics and member states. The interaction covered political, economic and social issues. Noted their deep interest in India and our relations with the EU. pic.twitter.com/qMvaerwQoI
— Dr. S. Jaishankar (@DrSJaishankar) February 17, 2020
इसके अलावा जयशंकर ने ईयू के कारोबार मामलों के आयुक्त फिल होगान से भी मुलाकात की. विदेश मंत्री ने यूरोपीय परिषद के अध्यक्ष चार्ल्स माइकल की ईयू तथा ईयू-भारत संबंधों की परिकल्पना को लेकर उनकी प्रशंसा की और भरोसा जाताया कि उनके नेतृत्व में ठोस परिणाम सामने आएंगे. उन्होंने यूरोपीय ग्रीन डील के कार्यकारी उपाध्यक्ष फ्रांस टिमरमन्स से भी मुलाकात की. दोनों नेताओं ने संवहनीयता, जलवायु परिवर्तन, पर्यावरण एवं नवाचार संबंधी अपने अनुभव साझा किए. उन्होंने यूरोपीय संसद के सदस्यों के साथ विचार विमर्श किया. इसके बाद जयशंकर ने ट्वीट किया, ‘बातचीत के मुख्य मुद्दे राजनीतिक, आर्थिक और सामाजिक थे. भारत में तथा ईयू के साथ हमारे संबंधों में उनकी गहन रुचि देखी.’