अहमदाबाद: गुजरात की तटीय सीमा पर ड्रग लैंडिंग में अचानक हुई बढ़ोतरी थमने का नाम नहीं ले रही है. गुजरात में अंतरराष्ट्रीय स्तर की ड्रग्स आने की शुरूआत हो चुकी है. पंजाब के बाद अब गुजरात ड्रग्स का एपी सेंटर बन गया है. अंतरराष्ट्रीय निर्णय और श्रीलंका में सत्ता परिवर्तन की वजह से गुजरात में भारी पैमाने पर ड्रग्स की एंट्री हो रही है. गुजरात में आने वाला ड्रग्स श्रीलंका के समुद्री रास्ते से ऑस्ट्रेलिया के साथ-साथ पूरे यूरोप में जाता था.
श्रीलंका में 2019 में सत्ता परिवर्तन के बाद वहां की सरकार ने तटीय क्षेत्र की सुरक्षा बढ़ा दी थी. इतना ही नहीं वहां की सरकार ने ड्रग्स पैडलर के खिलाफ सख्त कार्रवाई कर फांसी की सजा देने लगी. जिसकी वजह से श्रीलंका से ड्रग माफियाओं ने भारत का रुख किया और गुजरात उनके लिए आसान बन गया. जबकि भारत के कानून श्रीलंका की तरह सख्त नहीं हैं इसीलिए माना जाता है कि माफियाओं ने इस ओर रुख किया है. गुजरात ड्रग माफियाओं के लिए सेफ पैसेज माना जाने लगा है. इसमें गुजरात की 1600 किलोमीटर लंबी तटरेखा का इस्तेमाल किया जाता है.
गुजरात एटीएस ने हाल ही में 600 करोड़ रुपये की ड्रग्स जब्त की है. गुजरात में समुद्री मार्ग को रूट बनाकर ड्रग माफिया लंबे समय से विदेशों में ड्रग्स पहुंचा रहे हैं. इसलिए जांच एजेंसी भी इस बात से इनकार नहीं कर रही है कि गुजरात में हेरोइन और अंतरराष्ट्रीय ड्रग्स आ रहे हैं. हालांकि गुजरात में इन दवाओं को लेने वालों की संख्या भी कम है. इसलिए जांच के दौरान एजेंसियों को पता चला कि गुजरात ड्रग्स का बफर स्टेट बन गया है. यहां से 1 किलो या उससे छोटे पैकेट बनाकर सड़क मार्ग से दूसरे राज्यों या देशों में भेजा जा रहा है. गुजरात से ही बर्मा, उज्बेकिस्तान, ऑस्ट्रेलिया जैसे कई देशों में ड्रग्स की तस्करी की जा रही है.
गुजरात के एक वरिष्ठ आईपीएस अधिकारी ने कहा कि अफगानिस्तान में सत्ता परिवर्तन के बाद पाकिस्तान और सऊदी अरब के कुछ देशों का रूट बंद होने की वजह से उनके पास पहले से मौजूद ड्रग्स को दूसरे देश में सप्लाई करने की फिराक में लगे हुए हैं. 2019 से श्रीलंका का समुद्री मार्ग ड्रग्स के लिए बंद है. जिसकी वजह से ड्रग्स माफिया गुजरात के 1600 किलोमीटर समुद्री मार्ग का इस्तेमाल कर रहे हैं.
गुजरात एटीएसए ने हाल ही में गुजरात में 600 करोड़ रुपये के ड्रग मामले में 5 और आरोपियों को गिरफ्तार किया है. आरोपियों में एक पंजाब का और चार अन्य द्वारका के रहने वाले हैं. देर रात तक चले एटीएस के इस ऑपरेशन में पांच आरोपियों को पकड़कर अहमदाबाद लाया गया है. पुलिस ने जिन लोगों को गिरफ्तार किया है वह अपने आकाओं को नहीं जानते बल्कि वह पैसों की लालच में इस काले कारोबार से जुड़े थे. इन लोगों को पैसा भी हवाला के जरिए ही मिल रहा था.
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