नई दिल्ली: सुप्रीम कोर्ट ने लखीमपुर खीरी हिंसा मामले में सुनवाई के दौरान उत्तर प्रदेश सरकार के वकील को जमकर फटकार लगाया. कोर्ट ने स्टेटस रिपोर्ट दाखिल करने में देरी होने पर योगी सरकार को जमकर फटकार लगाते हुए कहा कि कल रात एक बजे तक हम आपके स्टेटस रिपोर्ट का इंतजार करते रहे. आपकी स्टेटस रिपोर्ट हमें बिल्कुल अंतिम समय में मिली है.
उत्तर प्रदेश सरकार की ओर से सुप्रीम कोर्ट में पेश हुए वकील हरीश साल्वे ने कहा कि सुनवाई को शुक्रवार तक के लिए टाल दी जानी चाहिए. जिस पर सीजेआई ने कहा, नहीं, हम शुक्रवार, शनिवार को नहीं सुनेंगे, हम स्टेटस रिपोर्ट अभी पढ़ेंगे. कोर्ट ने सुनवाई के दौरान सवाल करते हुए कहा कि इस मामले में सिर्फ 44 लोगों की ही गवाही ली है, बाकी की क्यों नहीं ली? इस सवाल पर वकील साल्वे ने कहा कि फिलहाल प्रक्रिया चल रही है. इस मामले में दो अपराध हैं. एक मामला किसानों पर गाड़ी चढ़ाने का है और दूसरा मामला लिंचिंग का है.
केंद्रीय गृह राज्य मंत्री अजय मिश्रा के बेटे आशीष मिश्रा को लखीमपुर खीरी के तिकुनिया गांव में हुई घटना में आरोपी बनाए जाने के छह दिन बाद गिरफ्तार किया गया था. आरोप है कि पुलिस ने आरोपी की राजनीतिक स्थिति को देखते हुए कार्यवाही में देरी की. इससे पहले 8 अक्टूबर को लखीमपुर खीरी हिंसा मामले की सुनवाई के दौरान सुप्रीम कोर्ट ने आरोपियों को गिरफ्तार नहीं करने पर उत्तर प्रदेश सरकार के कदम पर सवाल उठाया था.
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