दिल्ली में हुए दंगों को लेकर मुसलिम राष्ट्रों की ओर से लगातार आवाज़ उठ रही है. कई मुसलिम राष्ट्रों के बाद ईरान ने दिल्ली के दंगों को लेकर आधिकारिक प्रतिक्रिया दी है और कहा है कि ईरान भारतीय मुसलमानों के ख़िलाफ़ हुई संगठित हिंसा की निंदा करता है. ईरान के विदेश मंत्री जावेद जरीफ ने सोमवार रात को ट्वीट कर कहा, ‘कई सदियों से ईरान भारत का दोस्त है. हम भारत सरकार से अपील करते हैं कि वह सभी भारतीयों की सुरक्षा सुनिश्चित करे और किसी का भी दमन नहीं होना चाहिए. शांतिपूर्ण बातचीत और कानून का शासन ही आगे बढ़ने का सही रास्ता है.
ज़रीफ़ से पहले इंडोनेशिया, तुर्की और पाकिस्तान इन दंगों को लेकर टिप्पणी कर चुके हैं. उससे पहले मलेशिया और बांग्लादेश भी नागरिकता संशोधन क़ानून और नेशनल रजिस्टर ऑफ़ सिटीजंस (एनआरसी) को लेकर टिप्पणी कर चुके हैं. भारत की ओर से अभी तक ईरान के विदेश मंत्री के ट्वीट को लेकर कोई टिप्पणी नहीं की गई है जबकि भारत ने तुर्की और पाकिस्तान की टिप्पणियों का जवाब दिया था.
Iran condemns the wave of organized violence against Indian Muslims.
For centuries, Iran has been a friend of India. We urge Indian authorities to ensure the wellbeing of ALL Indians & not let senseless thuggery prevail.
Path forward lies in peaceful dialogue and rule of law.
— Javad Zarif (@JZarif) March 2, 2020
इससे पहले इंडोनेशिया ने जकार्ता में भारतीय राजदूत को बुलाकर दिल्ली में हुए दंगों को लेकर चिंता ज़ाहिर की थी. इंडोनेशिया के धार्मिक मामलों के मंत्री ने मुसलमानों के ख़िलाफ़ हो रही हिंसा को लेकर बयान जारी करते हुए हिंसा की निंदा की थी. दिल्ली के दंगों को लेकर तुर्की के राष्ट्रपति एर्दोगन ने भी पिछले सप्ताह दावा किया था कि भारत में मुसलमानों का बड़े पैमाने पर नरसंहार हो रहा है.
पाकिस्तान के प्रधानमंत्री इमरान ख़ान ने दिल्ली दंगों पर भारतीय मुसलमानों के रैडिकलाइज होने को लेकर चेताया था और कहा था कि इसके न केवल इस क्षेत्र में बल्कि पूरी दुनिया में भयानक परिणाम देखने को मिलेंगे.