उच्चतम न्यायालय की वरिष्ठ वकील इंदिरा जयसिंह ने निर्भया की मां से अपनी बेटी के दरिंदों को माफ करने का अनुरोध किया है। निर्भया के दरिंदों के लिए अदालत ने नया डेथ वारंट जारी किया है. अब उन्हें एक फरवरी को फांसी पर लटकाया जाएगा. दरिंदों ने चलती बस में 16 दिसंबर, 2012 की रात को 23 साल की मेडिकल छात्रा के साथ सामूहिक दुष्कर्म किया था.
निर्भया की मां आशा देवी ने शुक्रवार को दिल्ली की एक अदालत द्वारा आरोपियों की फांसी की तारीख टालने पर जब अपनी निराशा व्यक्त की तो उसके कुछ देर बाद ही जयसिंह ने ट्विटर पर उनसे आरोपियों को माफ करने का अनुरोध किया.
जयसिंह ने ट्वीट कर कहा, ‘मैं आशा देवी के दर्द से पूरी तरह से वाकिफ हूं. मैं उनसे अनुरोध करती हूं कि वह सोनिया गांधी के उदाहरण का अनुसरण करें जिन्होंने नलिनी को माफ कर दिया और कहा कि वह उसके लिए मौत की सजा नहीं चाहती हैं. हम आपके साथ हैं लेकिन मौत की सजा के खिलाफ हैं।’
निर्भया की मां आशा देवी ने वरिष्ठ वकील इंदिरा जयसिंह की नसीहत पर कड़ी प्रतिक्रिया दी है. आशा देवी ने कहा है कि इंदिरा जयसिंह मुझे यह नसीहत देने वाली होती कौन हैं? पूरा देश निर्भया के दोषियों को फांसी पर चढ़ते देखना चाहता है. इंदिरा जयसिंह जैसे लोगों के चलते ही बलात्कार पीड़िताओं को न्याय मिलने में देरी होती है. आशा देवी ने कहा, विश्वास नहीं हो रहा है कि इंदिरा जयसिंह ने इस तरह का सुझाव देने की हिम्मत भी कैसे की. मैं सुप्रीम कोर्ट में कई वर्षों में उनसे मिली. एक बार भी उन्होंने मेरी संवेदना को लेकर कुछ नहीं पूछा और आज वह दोषियों को माफ करने की बात कह रही हैं. कुछ लोग बलात्कारियों का समर्थन करके अपनी रोजी-रोटी चलाते हैं, इसलिए बलात्कार की घटनाएं बंद नहीं होती हैं.
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