गुजरात सरकार ने राज्य में उत्पादन इकाइयों से ऑक्सीजन (Oxygen) की आपूर्ति को बनाए रखने के लिए कुछ अहम निर्देश जारी किए हैं. यह फैसला कोरोना वायरस के रोगियों के लिए मेडिकल ऑक्सीजन (Oxygen) की कथित कमी के मद्देनजर लिया गया है.
गौरतलब है कि राज्य में कोरोना के बढ़ते मामलों के मद्देनजर ऑक्सीजन (Oxygen) की खपत बढ़ रही है. राज्य ने एक विज्ञप्ति में कहा कि अनलॉक के साथ कई उद्योग और इकाइयां भी पूरी तरह से काम कर रही हैं. परिणामस्वरूप औद्योगिक उपयोग के लिए ऑक्सीजन (Oxygen) की मांग भी बढ़ रही है. इससे मेडिकल के इस्तेमाल के लिए ऑक्सीजन (Oxygen) की कमी हो सकती है. सरकार ने एक विज्ञप्ति में कहा कि ऑक्सीजन (Oxygen) की कमी कोरोना के रोगियों के उपचार को प्रभावित करेगी.
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इस तरह से सरकार ने राज्य में ऑक्सीजन (Oxygen) उत्पादन इकाइयों को इसकी आपूर्ति सुनिश्चित करने के लिए निर्देश दिए हैं जिसका पालन करना अनिवार्य होगा.
क्या हैं शर्तें
- उत्पादन इकाइयों को यह सुनिश्चित करने की आवश्यकता होगी कि ऑक्सीजन (Oxygen) उत्पादन में किसी प्रकार की कोई रुकावट ना आए और उनका उत्पादन अधिकतम क्षमता के अनुसार हो.
- उत्पादित ऑक्सीजन का 50% केवल अस्पतालों में आपूर्ति के लिए उपयोग किया जाएगा.
- उत्पादन का केवल 50% औद्योगिक इकाइयों के लिए दिया जाएगा.
- आवश्यकता पड़ने पर उद्योगों के बजाय अस्पतालों को ऑक्सीजन की आपूर्ति और चिकित्सा उपयोग के लिए इसको प्राथमिकता दी जानी चाहिए.
- अस्पतालों को उनके कोटे का ऑक्सीजन दिए जाने के बाद भी यह प्राथमिकता बनी रहेगी.
इससे पहले शहर के पारेख अस्पताल में ऑक्सीजन (Oxygen) की आपूर्ति की कमी की खबरें सामवे आई थीं जिसके बाद सोला सिविल अस्पताल से मदद मांगनी पड़ी थी.
यह अस्पताल उन कई निजी अस्पतालों में से एक था जिसके साथ अहमदाबाद नगर निगम (AMC) ने कोरोना रोगियों के इलाज के लिए समझौता ज्ञापन (MOU) किया था. नगर निगम ने उस समय कहा था कि वह विभिन्न अस्पतालों में स्थिति और ऑक्सीजन की आपूर्ति की निगरानी रख रहा है.
इसी तरह के कई मामले राज्य के अन्य अस्पतालों से भी सामने आई थीं जिसके बाद स्वास्थ्य विभाग को अधिसूचना जारी करने के लिए मजबूर होना पड़ा था.