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डेयरी सेक्टर ने 8 करोड़ से ज्यादा परिवारों को रोजगार मुहैया कराया: PM मोदी

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 प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने ग्रेटर नोएडा के इंडिया एक्सपो सेंटर एंड मार्ट में लगी प्रदर्शनी का जायज़ा लिया. उसके बाद पीएम ने इंडिया एक्सपो सेंटर एंड मार्ट में अंतरराष्ट्रीय डेयरी संघ विश्व डेयरी सम्मेलन 2022 का उद्घाटन किया. इस मौके पर उन्होंने कहा कि डेयरी सेक्टर का सामर्थ्य ना सिर्फ ग्रामीण अर्थव्यवस्था को गति देता है बल्कि ये दुनिया भर में करोड़ों लोगों की आजीविका का भी प्रमुख साधन है.

अंतरराष्ट्रीय डेयरी संघ विश्व डेयरी सम्मेलन 2022 के उद्घाटन सत्र को संबोधित करते हुए पीएम ने कहा कि मुझे विश्वास है कि ये सम्मेलन विचार, तकनीक, विशेषज्ञता और डेयरी क्षेत्र से जुड़ी परंपराओं के स्तर पर एक दूसरे की जानकारी बढ़ाने और सीखने में बहुत बड़ी भूमिका निभाएगी. विश्व के अन्य विकसित देशों से अलग, भारत में डेयरी सेक्टर की असली ताकत छोटे किसान हैं. भारत के डेयरी सेक्टर की पहचान बड़े पैमाने पर उत्पादन से ज्यादा बड़े समूह द्वारा उत्पादन की है. आज भारत में डेयरी सहकारी का एक ऐसा विशाल नेटवर्क है जिसकी मिसाल पूरी दुनिया में मिलना मुश्किल है. ये डेयरी कॉपरेटिव्स देश के दो लाख से ज्यादा गांवों में करीब-करीब दो करोड़ किसानों से दिन में दो बार दूध जमा करती है और उसे ग्राहकों तक पहुंचाती है.

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आगे कहा कि आज भारत पूरे विश्व में सबसे ज्यादा दूध उत्पादन करने वाला देश है. आज भारत के 8 करोड़ से ज्यादा परिवारों को ये सेक्टर रोजगार मुहैया कराता है. इस पूरी प्रकिया में बीच में कोई मिडिल मैन नहीं होता और ग्राहकों से जो पैसा मिलता है, उसका 70 प्रतिशत से ज्यादा किसानों की जेब में ही जाता है. पूरे विश्व में इतना ज्यादा अनुपात किसी और देश में नहीं है. 2014 के बाद से हमारी सरकार ने भारत के डेयरी सेक्टर के सामर्थ्य को बढ़ाने के लिए निरंतर काम किया है. आज इसका परिणाम दूध उत्पादन से लेकर किसानों की बढ़ी आय में भी नजर आ रहा है.

पीएम ने समारोह को संबोधित करते हुए आगे कहा कि 2014 में भारत में 146 मिलियन टन दूध का उत्पादन होता था. अब ये बढ़कर 210 मिलियन टन तक पहुंच गया है. यानि करीब-करीब 44 प्रतिशत की वृद्धि हुई है. भारत के डेयरी सेक्टर में महिला शक्ति 70% कार्यबल का प्रतिनिधित्व करती है. भारत के डेयरी सेक्टर की असली कर्णधार महिलाएं हैं. इतना ही नहीं भारत के डेयरी कॉपरेटिव्स में भी एक तिहाई से ज्यादा सदस्य महिलाएं ही हैं. भारत, डेयरी पशुओं का सबसे बड़ा डेटाबेस तैयार कर रहा है. डेयरी सेक्टर से जुड़े हर पशु की टैगिंग हो रही है. आधुनिक तकनीक की मदद से हम पशुओं की बायोमीट्रिक पहचान कर रहे हैं. हमने इसे नाम दिया है- पशु आधार.

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