प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने सोमवार को लोकसभा में राष्ट्रपति के अभिभाषण पर धन्यवाद प्रस्ताव की चर्चा का जवाब दिया. इस मौके पर पीएम ने विपक्षी सरकारों पर प्रवासियों को छोड़ने और संक्रमण फैलाने के लिए उकसाने का आरोप लगाया. पीएम के इस बयान पर सियासी बयानबाजी शुरू हो गई है. कांग्रेस समेत आम आदमी पार्टी ने पीएम मोदी के इस बयान को झूठा करार दिया है.
पीएम मोदी के इस बयान पर दिल्ली के मुख्यमंत्री और आम आदमी पार्टी के राष्ट्रीय संयोजक अरविंद केजरीवाल ने हमला बोलते हुए कहा कि “प्रधानमंत्री जी का ये बयान सरासर झूठ है. देश उम्मीद करता है कि जिन लोगों ने कोरोना काल की पीड़ा को सहा, जिन लोगों ने अपनों को खोया, प्रधानमंत्री जी उनके प्रति संवेदनशील होंगे. लोगों की पीड़ा पर राजनीति करना प्रधानमंत्री जी को शोभा नहीं देता.”
लोकसभा में कांग्रेस पार्टी के नेता अधीर रंजन चौधरी ने पीएम मोदी के बयान पर पलटवार करते हुए कहा कि लॉकडाउन का ऐलान किसने किया? मज़दूरों के खाने और रहने का कोई इंतज़ाम नहीं किया गया, आपने ये सब नहीं देखा? भूखे पेट नंगे पांव उन्होंने सफर तय किया. लॉकडाउन के दौरान लाखों लोगों की मृत्यु का ज़िम्मेदार कौन है?
पीएम मोदी के किस बयान पर भड़का विपक्ष
पीएम मोदी कल सदन में बोलते हुए कहा था कि कोरोना के इस समय में कांग्रेस पार्टी ने सारी हदें पार कर दी. पहली लहर के दौरान, जब लोग लॉकडाउन का पालन कर रहे थे, दिशानिर्देश सुझाव दे रहे थे कि लोग जहां हैं वहीं रहें, तब कांग्रेस मुंबई स्टेशन पर खड़ी थी और निर्दोष लोगों को डरा रही थी. इतना ही नहीं लोकसभा में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आगे बोलते हुए कहा कि कुछ लोगों को ‘मेक इन इंडिया’ से दिक्कत है, क्योंकि उनके लिए इसका मतलब है कि भ्रष्टाचार नहीं होगा, वे पैसा नहीं जुटा पाएंगे. हमने रक्षा के विभाग से जुड़े सभी लंबित मुद्दों को हल करने का प्रयास किया है.
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