राजकोट के चर्चित अधिवक्ता और पाटीदार नेता क्लब यूवी के अध्यक्ष महेंद्र फणदू ने आज सुबह आत्महत्या कर ली है. महेंद्र फणदू ने पहले जहरीली दवा खा ली और उसके बाद गले में फांसी लगाकर आत्महत्या कर ली है. उनका एक सुसाइड नोट भी मिला है जिसमें खुदकुशी के लिए जिम्मेदार लोगों के नाम का भी जिक्र किया है. जिसमें उन्होंने लिखा है कि आर्थिक तंगी के चलते यह कदम उठाने का फैसला किया है.
प्राप्त जानकारी के अनुसार राजकोट के एक नामी बिल्डर और महेंद्र फणदू ने जहरीली दवा खाकर और फिर फांसी लगाकर आत्महत्या कर ली है. उन्होंने अपने कार्यालय में आत्महत्या कर ली है. हालांकि महत्वपूर्ण बात यह है कि महेंद्र ने आत्महत्या करने से पहले मीडिया को एक प्रेस नोट भेजा था. महेंद्र फणदू और उनके परिवार ने अहमदाबाद जिले के बावला तालुका में “द टस्क की बीच सिटी” नामक परियोजना में 1 लाख वार जगह खरीदकर करोड़ों का निवेश किया था.
महेंद्र फणदू के अनुसार, 2007 में ओजोन समूह में 3 करोड़ रुपये से अधिक का निवेश किया गया था. हालांकि ओजोन समूह के बिल्डर एमएम पटेल, अमित चौहान, अतुल मेहता, अहमदाबाद ओजोन ग्रुप के जयेश पटेल, दीपक पटेल, प्रणय पटेल और प्रकाश पटेल जमीन का दस्तावेज नहीं कर रहे थे. इसके अलावा मृतक फणदू ने प्रेस नोट में उल्लेख किया है कि महेंद्र पटेल झूठी शिकायत और धमकाकर लगातार परेशान कर रहा था.
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