कोरोना काल में देश में दिल को झकझोर देने वाली कई खबरें सुनने और देखने को मिल रही हैं. कुछ ऐसा ही आत्महत्या का एक मामला उत्तर प्रदेश के लखीमपुर खीरी जिले से आया है. उत्तर प्रदेश के लखीमपुर खीरी जिले में रहने वाले दो भाई और एक बहन ने घर के आंगन में फांसी लगाकर एक साथ आत्महत्या कर ली. पुलिस को उनके पास से एक सुसाइड नोट भी बरामद हुआ है जिसमें लिखा है कि वे तीनों अपनी मर्जी से आत्महत्या कर रहे हैं.
ये मामला लखीमपुर थाना सदर कोतवाली क्षेत्र के शांति नगर मोहल्ले का है. जहां रहने वाले आदित्य यूपी एग्रो डिपार्टमेंट लखनऊ में नौकरी करते हैं. सुसाइड नोट में लिखा है, कि वे अपनी मां के मरने के गम को नहीं भुला पा रहे हैं. साथ ही उन्होंने सुसाइड नोट में अपनी फोटो अखबार में नहीं छापे जाने की अपील की है. पुलिस के मुताबिक उनकी मां की मौत 8 महीने पहले हुई थी.
दरअसल गुरुवार सुबह वह लखनऊ गए थे जब वह वापस शाम को अपने घर लौटे तो उन्होंने अपने घर का दरवाजा बंद पाया. जिसके बाद उन्होंने इसकी जानकारी पुलिस को दी. इसके बाद घटना की सूचना मिलते ही पुलिस मौके पर पहुंची. पुलिस के सामने घर का दरवाजा तोड़ा गया तो उन्होंने घर के आंगन में उनके 35 साल के बेटे नागेश्वर, 28 साल के बेटे विवेक और 25 साल की छोटी बेटी को फांसी के फंदे से झूलते हुए पाया.
आत्महत्या करने वाले तीनों बच्चों के पिता आदित्य ने बताया कि उनकी पत्नी का सितंबर महीने में स्वर्गवास हो गया था जिसके बाद से यह तीनों बच्चे हमेशा गुमसुम से रहने लगे थे. आदित्य ने अपने बड़े बेटे की शादी भी तय कर दी थी लेकिन मां की मौत के बाद बेटे ने शादी करने से भी मना कर दिया था. सभी लोग परेशान रहा करते थे. आत्महत्या करने वाले बच्चों के पिता ने बताया कि यह तीनों बच्चे प्रतिदिन अपनी मां को याद करके घंटों-घंटों रोया करते थे और उनकी याद में बच्चों ने खाना-पीना तक छोड़ दिया था.
पुलिस को उनके पास से एक सुसाइड नोट भी बरामद हुआ है. शवों के पास से बरामद सुसाइड नोट में लिखा गया है कि वे तीनों भाई-बहन अपनी मर्जी से आत्महत्या कर रहे हैं. वह अपनी मां के मरने का गम नहीं भुला पा रहे हैं. उसमें लिखा, ‘कृपया हम तीनों भाई-बहन का पोस्टमॉर्टम न कराया जाए और कृपया अखबार में फोटो ना छापी जाए.’
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