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तालाबंदी से परेशान दिग्गज उद्योगपतियों ने कहा- नौकरियां बचाने के लिए सीखना होगा कोरोना संग जीना

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देश में 40 दिनों से ज्यादा का लॉकडाउन बीत चुका है. इस बीच लाखों लोगों के शहरों से गांवों की ओर पलायन करना पड़ा है. सैलरी कट से लेकर नौकरी जाने तक कठिन फैसलों का सामना करना पड़ा है. ऐसी स्थिति में अब भारत के दिग्गज कारोबारियों ने राय जताई है कि लॉकडाउन में अब छूट देनी चाहिए. एचडीएफसी के मुखिया दीपक पारेख से लेकर मारुति सुजुकी के चेयरमैन आरसी भार्गव तक ने यही राय जताई है. कारोबारियों ने कहा कि कोरोना को लेकर पैनिक की स्थिति से बचना होगा और पॉलिसीमेकर्स को यह समझना होगा कि देश को इन्फेक्शन के बीच ही रहना और काम करना सीखना होगा.

महाराष्ट्र सरकार की ओर से कोरोना को लेकर सुझाव देने के लिए गठित केलकर समिति के सदस्य और एचडीएफसी के मुखिया दीपक पारेख ने कहा कि वायरस तब तक खत्म नहीं होने वाला है, जब तक कि इसकी दवा नहीं मिल जाती. उन्होंने कहा, ‘दिहाड़ी मजदूरों को जीने के लिए पैसों की जरूरत है. यह बेहतर होगा कि भारत सोशल डिस्टेंसिंग को बनाए रखते हुए तत्काल काम पर लौटे.’ पारेख ने कहा कि मेडिकल एक्सपर्ट्स के मुताबिक भारत में कोरोना से मृत्यु की दर अन्य देशों के मुकाबले काफी कम है. इसके अलावा भारत की बड़ी युवा आबादी होने के चलते हमें इससे निपटने में खासी मदद मिलेगी. उन्होंने कहा कि यह जरूरी है कि अब अर्थव्यवस्था को और न बिगड़ने दिया जाए.

टीवीएस मोटर्स के चेयरमैन वेणु श्रीनिवासन ने भी कहा कि अब नौकरियों और कमाई के खत्म होने को नजरअंदाज नहीं किया जा सकता है. उन्होंने कहा कि बेरोजगारी के चलते श्रमिक वर्ग बड़े दबाव में है. इसके अलावा छोटे दुकानदारों और लघु उद्योगों से जुड़े लोगों की आजीविका के सवाल को भी किनारे नहीं किया जा सकता. उन्होंने कहा कि भारत के विविधतापूर्ण समाज को देखते हुए हमें खुद से कोरोना का समाधान तलाशना होगा क्योंकि अब आजीविका की समस्या को छोड़ा नहीं जा सकता.

मारुति के चेयरमैन ने कहा अब शुरू होना चाहिए काम

मारुति सुजुकी के चेयरमैन आरसी भार्गव ने भी यही राय जताते हुए कहा है कि अब कारोबार शुरू करना जरूरी हो गया. उन्होंने कहा कि आर्थिक गतिविधियों को शुरू किया जाए ताकि लोगों को फिर से काम मिल सके. सावधानियों को सख्ती से पालन किया जाना चाहिए ताकि काम के दौरान वायरस को भी फैलने से रोका जा सके. बता दें कि कुछ दिनों पहले ही इन्फोसिस के मुखिया नारायणमूर्ति ने भी लॉकडाउन से निकलने की वकालत करते हुए कहा था कि यदि ऐसे ही काम बंद रहा तो कोरोना से ज्यादा लोगों की मौत भुखमरी के चलते हो जाएगी.

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