आकिब छीपा, अहमदाबाद: परिवार नियोजन के तहत नसबंदी ऑपरेशन के बाद फिर से गर्भवती हुई और जन्म देने वाली महिला ने मुआवजे के लिए राज्य के जिला उपभोक्ता विवाद निवारण आयोग को आवेदन दिया है. Woman pregnant after sterilization
असलफ नसबंदी ऑपरेशन
महिला का दावा है कि उसके तीन बच्चे हैं और एक असफल नसबंदी के कारण वह फिर से गर्भवती हो गई और उसने एक बच्चे को जन्म दिया. इसलिए उसके परिवार नियोजन में गड़बड़ी हो गई है.
असफल ऑपरेशन के बाद पैदा हुए बच्चे के जीवन निर्वाहन के लिए 10 लाख रुपये, मानसिक आघात के लिए 2 लाख रुपये और असफल ऑपरेशन के लिए 5,000 रुपये के मुआवजे की मांग की है.
महिला ने ऑपरेशन करने वाले एक सरकारी मान्यता प्राप्त डॉक्टर के खिलाफ 12.05 लाख रुपये के कुल मुआवजे के लिए आवेदन किया है. Woman pregnant after sterilization
महिला ने डॉक्टर से मुआवजे की मांग
ऑपरेशन करने वाले सरकारी मान्यता प्राप्त डॉक्टर दर्शन केला ने जिला उपभोक्ता विवाद निवारण आयोग को दिए अपने जवाब में कहा कि महिलाओं में ट्यूबेक्टोमी नसबंदी ऑपरेशन के हर 400 मामलों में से एक ऑपरेशन प्राकृतिक कारणों से विफल हो जाता है. डॉक्टर की ओर से कागजात प्रस्तुत किए गए हैं. Woman pregnant after sterilization
जिसमें महिला की नसबंदी विफल होने के मामले में डॉक्टर को जिम्मेदार नहीं ठहराया जा सकता. इन कागजात पर आवेदक महिला ने हस्ताक्षर भी किया है.
डॉक्टर ने दी दलील प्राकृतिक कारणों से ऑपरेशन हो सकता है विफल Woman pregnant after sterilization
इतना ही नहीं डॉक्टर ने कुछ आंकड़े भी प्रस्तुत किए, जिसमें 2006 और 2017 के बीच बनासकांठा जिले में किए गए कुल परिवार नियोजन ऑपरेशन में से 106 प्राकृतिक कारणों से विफल रहे है.
शिकायतकर्ता को आश्वासन देने का कोई सवाल ही नहीं है कि ऑपरेशन के बाद भविष्य में गर्भधारण नहीं होगा. Woman pregnant after sterilization
डॉक्टर द्वारा यह दावा किया गया है कि वादी को सरकार से पहले मुआवजा मांगना चाहिए.
डॉक्टर नहीं सरकार मुआवजा देने के लिए जिम्मेदार Woman pregnant after sterilization
डॉक्टर ने जिला उपभोक्ता विवाद निवारण आयोग में अपना जवाब पेश करते हुए कहा कि शिकायतकर्ता ने परिवार नियोजन के तहत नसबंदी ऑपरेशन कराया था और ऑपरेशन के कारण कोई समस्या या विफलता होने पर मुआवजे के लिए सरकार के जिम्मेदार विभाग को आवेदन करना चाहिए. Woman pregnant after sterilization
आवेदक को मुआवजे के लिए राज्य सरकार के स्वास्थ्य और परिवार कल्याण विभाग में आवेदन करना चाहिए. सरकारी नियमों के अनुसार, निष्फल नसबंदी के मामले में, 30,000 रुपये का मुआवजा दिया जाता है.
दोनों पक्षों की ओर से रखी गई दलील को मद्देनजर रखते हुए उपभोक्ता विवाद निवारण आयोग ने कहा कि यदि सरकार ने नसबंदी के असफल मामलों को लेकर नीति बनाई है, तो आवेदक मुआवजे के लिए उपयुक्त अधिकारियों के पास आवेदन कर सकता है. आवेदक ने दिसंबर 2017 में नसबंदी कराई और जनवरी 2019 में फिर से वह गर्भवती हो गई थी. Woman pregnant after sterilization
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